https://ift.tt/38BfVyg आज की पॉजिटिव खबर में मिलिए केरल की रहने वाली आशा बिनीश से। आशा ऑनलाइन कॉम्पटीशन एग्जाम की कोचिंग चलाती हैं। पांच साल पहले एक-दो छात्रों से शुरू हुआ उनका सफर आज 5 हजार छात्रों तक पहुंच चुका है। उनके चैनल के अब 2.5 लाख से ज्यादा सब्सक्राइबर हैं। वहीं, सालाना टर्नओवर एक करोड़ रुपए तक पहुंच गया है। 34 साल की आशा सॉफ्टवेयर इंजीनियर हैं। 2006 में इंजीनियरिंग के बाद उन्होंने एक कंपनी में कुछ साल काम किया। बच्चे जन्म के बाद जॉब छोड़कर उसके साथ समय बिताने का फैसला लिया। वे कहती हैं- घर पर रहने के दौरान मैं कुछ न कुछ क्रिएटिव करने की कोशिश करती रहती थी। इसी दौरान मैंने कुछ वीडियो लेक्चर रिकॉर्ड करके यूट्यूब पर अपलोड किए। आशा के शुरुआती दो वीडियो को बहुत अच्छा रिस्पॉन्स नहीं मिला। लेकिन, तीसरे वीडियो को काफी लोगों ने देखा और तारीफ भी की। इसके बाद उन्होंने कुछ और वीडियो अपलोड किए। लोगों ने उन्हें मैसेज और फोन कर कोचिंग शुरू करने की सलाह दी। इसके बाद उनका सफर शुरू हुआ। वे इनोवेटिव तरीके से पढ़ाती हैं। उनके पढ़ाए सैकड़ों छात्र अलग-अलग एग्जाम्स में कामयाबी हासिल कर चुके हैं। आशा खुद बैंकिंग की तैयारी कर चुकी हैं और सफल भी हो चुकी हैं। हालांकि, उन्होंने केरल से बाहर सर्विस लोकेशन्स होने के चलते बैंक ज्वाइन नहीं किया। वे कहती हैं कि कॉम्पीटिटिव एग्जाम के लिए बहुत कम ऑनलाइन प्लेटफॉर्म हैं, जहां बेहतर तरीके और कम खर्च में तैयारी कराई जाती है। इसलिए मैंने तय किया कि अब मैं ऑनलाइन बच्चों को गाइड करूंगी। अभी आशा के साथ 25 लोगों की टीम काम कर रही है। इसमें टीचर्स से लेकर मार्केटिंग और अकाउंटेंट का काम संभालने वाले लोग शामिल हैं। आशा ने 2016 में कॉम्पीटिटिव क्रैकर नाम से ऑनलाइन क्लास शुरू की। उन्होंने लैपटॉप और इंटरनेट कनेक्शन के लिए करीब 35 हजार रुपए खर्च किए। ऑनलाइन प्लेटफॉर्म पर पॉपुलर होने के बाद उन्होंने एर्नाकुलम में किराये की जगह में कोचिंग क्लास शुरू की। जिन बच्चों ने यूट्यूब पर उनका लेक्चर देखा था, वे अब यहां एनरोल हो गए। इस साल कोरोना के चलते जब सभी जगह ऑनलाइन क्लासेज शुरू हुईं, तो उनके चैनल के सब्स्क्राइबर भी बढ़ गए। शुरुआती एक साल तक उन्होंने अकेले ही पूरा काम संभाला। पढ़ाने से लेकर यूट्यूब वीडियो बनाना, अपलोड करना, मार्केटिंग देखने जैसे सभी काम वह खुद करतीं थीं। इसके बाद उनके पति ने अपनी नौकरी छोड़ दी और आशा के स्टार्टअप के साथ जुड़ गए। अभी आशा के साथ 25 लोगों की टीम काम कर रही है। इसमें टीचर्स से लेकर मार्केटिंग और अकाउंटेंट का काम संभालने वाले लोग शामिल हैं। लॉकडाउन के दौरान आशा ने कई नए और इनोवेटिव क्लास लॉन्च किए। अब उनके रेवेन्यू का 70% हिस्सा ऑनलाइन प्लेटफॉर्म से ही मिलता है। वे वीडियो लेक्चर, ऑनलाइन कंटेंट, टेस्ट सीरीज जैसी फैसिलिटी मुहैया कराती हैं। उन्होंने एक मोबाइल ऐप भी लॉन्च किया है। सबको मिलाकर उनका बिजनेस टर्नओवर सालाना एक करोड़ रुपए तक पहुंच गया है। आशा UPSC, KPSC, SSC और बैंक जॉब्स की तैयारी करवाती हैं। उनके पैकेज और मॉड्यूल की प्राइस लेक्चर्स की संख्या के आधार पर अलग-अलग होती है। उनके कोर्स एक हजार रुपए से शुरू होते हैं। साथ ही कुछ नोट्स और लेक्चर्स मुफ्त में भी उपलब्ध हैं। आशा और उनकी टीम का एक ब्लॉग भी है, जिस पर कॉम्पीटिटिव एग्जाम की डेट, सिलेबस और सेलेक्शन प्रोसेस के बारे में जानकारी होती है। अपने पति और बच्चे के साथ आशा बिनीश। तीन साल पहले आशा के पति ने भी नौकरी छोड़ दी और उनके काम में हाथ बंटाने लगे। आशा घर का काम संभालते हुए भी क्लास लेती हैं। कई बार वे खाना पकाते हुए भी लेक्चर लेती हैं। वो बताती हैं कि बच्चों को प्रैक्टिकली चीजें ज्यादा बेहतर तरीके से समझ में आती है और वो उसे लंबे समय तक याद भी रखते हैं। इसलिए उनकी कोशिश होती हैं कि खाना पकाने के दौरान ही वो कुछ ऐसे उदाहरण बच्चों के सामने रखें, जिससे उन्हें चीजें से समझ में आए। आज की ताज़ा ख़बरें पढ़ने के लिए दैनिक भास्कर ऍप डाउनलोड करें केरल की रहने वाली आशा बिनीश ऑनलाइन कॉम्पटीशन एग्जाम की कोचिंग कराती हैं। वे इनोवेटिव तरीके से छात्रों को पढ़ाती हैं। from Dainik Bhaskar https://ift.tt/2Jr7mNS via IFTTT https://ift.tt/3ptgOzK आज की पॉजिटिव खबर में मिलिए केरल की रहने वाली आशा बिनीश से। आशा ऑनलाइन कॉम्पटीशन एग्जाम की कोचिंग चलाती हैं। पांच साल पहले एक-दो छात्रों से शुरू हुआ उनका सफर आज 5 हजार छात्रों तक पहुंच चुका है। उनके चैनल के अब 2.5 लाख से ज्यादा सब्सक्राइबर हैं। वहीं, सालाना टर्नओवर एक करोड़ रुपए तक पहुंच गया है। 34 साल की आशा सॉफ्टवेयर इंजीनियर हैं। 2006 में इंजीनियरिंग के बाद उन्होंने एक कंपनी में कुछ साल काम किया। बच्चे जन्म के बाद जॉब छोड़कर उसके साथ समय बिताने का फैसला लिया। वे कहती हैं- घर पर रहने के दौरान मैं कुछ न कुछ क्रिएटिव करने की कोशिश करती रहती थी। इसी दौरान मैंने कुछ वीडियो लेक्चर रिकॉर्ड करके यूट्यूब पर अपलोड किए। आशा के शुरुआती दो वीडियो को बहुत अच्छा रिस्पॉन्स नहीं मिला। लेकिन, तीसरे वीडियो को काफी लोगों ने देखा और तारीफ भी की। इसके बाद उन्होंने कुछ और वीडियो अपलोड किए। लोगों ने उन्हें मैसेज और फोन कर कोचिंग शुरू करने की सलाह दी। इसके बाद उनका सफर शुरू हुआ। वे इनोवेटिव तरीके से पढ़ाती हैं। उनके पढ़ाए सैकड़ों छात्र अलग-अलग एग्जाम्स में कामयाबी हासिल कर चुके हैं। आशा खुद बैंकिंग की तैयारी कर चुकी हैं और सफल भी हो चुकी हैं। हालांकि, उन्होंने केरल से बाहर सर्विस लोकेशन्स होने के चलते बैंक ज्वाइन नहीं किया। वे कहती हैं कि कॉम्पीटिटिव एग्जाम के लिए बहुत कम ऑनलाइन प्लेटफॉर्म हैं, जहां बेहतर तरीके और कम खर्च में तैयारी कराई जाती है। इसलिए मैंने तय किया कि अब मैं ऑनलाइन बच्चों को गाइड करूंगी। अभी आशा के साथ 25 लोगों की टीम काम कर रही है। इसमें टीचर्स से लेकर मार्केटिंग और अकाउंटेंट का काम संभालने वाले लोग शामिल हैं। आशा ने 2016 में कॉम्पीटिटिव क्रैकर नाम से ऑनलाइन क्लास शुरू की। उन्होंने लैपटॉप और इंटरनेट कनेक्शन के लिए करीब 35 हजार रुपए खर्च किए। ऑनलाइन प्लेटफॉर्म पर पॉपुलर होने के बाद उन्होंने एर्नाकुलम में किराये की जगह में कोचिंग क्लास शुरू की। जिन बच्चों ने यूट्यूब पर उनका लेक्चर देखा था, वे अब यहां एनरोल हो गए। इस साल कोरोना के चलते जब सभी जगह ऑनलाइन क्लासेज शुरू हुईं, तो उनके चैनल के सब्स्क्राइबर भी बढ़ गए। शुरुआती एक साल तक उन्होंने अकेले ही पूरा काम संभाला। पढ़ाने से लेकर यूट्यूब वीडियो बनाना, अपलोड करना, मार्केटिंग देखने जैसे सभी काम वह खुद करतीं थीं। इसके बाद उनके पति ने अपनी नौकरी छोड़ दी और आशा के स्टार्टअप के साथ जुड़ गए। अभी आशा के साथ 25 लोगों की टीम काम कर रही है। इसमें टीचर्स से लेकर मार्केटिंग और अकाउंटेंट का काम संभालने वाले लोग शामिल हैं। लॉकडाउन के दौरान आशा ने कई नए और इनोवेटिव क्लास लॉन्च किए। अब उनके रेवेन्यू का 70% हिस्सा ऑनलाइन प्लेटफॉर्म से ही मिलता है। वे वीडियो लेक्चर, ऑनलाइन कंटेंट, टेस्ट सीरीज जैसी फैसिलिटी मुहैया कराती हैं। उन्होंने एक मोबाइल ऐप भी लॉन्च किया है। सबको मिलाकर उनका बिजनेस टर्नओवर सालाना एक करोड़ रुपए तक पहुंच गया है। आशा UPSC, KPSC, SSC और बैंक जॉब्स की तैयारी करवाती हैं। उनके पैकेज और मॉड्यूल की प्राइस लेक्चर्स की संख्या के आधार पर अलग-अलग होती है। उनके कोर्स एक हजार रुपए से शुरू होते हैं। साथ ही कुछ नोट्स और लेक्चर्स मुफ्त में भी उपलब्ध हैं। आशा और उनकी टीम का एक ब्लॉग भी है, जिस पर कॉम्पीटिटिव एग्जाम की डेट, सिलेबस और सेलेक्शन प्रोसेस के बारे में जानकारी होती है। अपने पति और बच्चे के साथ आशा बिनीश। तीन साल पहले आशा के पति ने भी नौकरी छोड़ दी और उनके काम में हाथ बंटाने लगे। आशा घर का काम संभालते हुए भी क्लास लेती हैं। कई बार वे खाना पकाते हुए भी लेक्चर लेती हैं। वो बताती हैं कि बच्चों को प्रैक्टिकली चीजें ज्यादा बेहतर तरीके से समझ में आती है और वो उसे लंबे समय तक याद भी रखते हैं। इसलिए उनकी कोशिश होती हैं कि खाना पकाने के दौरान ही वो कुछ ऐसे उदाहरण बच्चों के सामने रखें, जिससे उन्हें चीजें से समझ में आए। आज की ताज़ा ख़बरें पढ़ने के लिए दैनिक भास्कर ऍप डाउनलोड करें केरल की रहने वाली आशा बिनीश ऑनलाइन कॉम्पटीशन एग्जाम की कोचिंग कराती हैं। वे इनोवेटिव तरीके से छात्रों को पढ़ाती हैं। https://ift.tt/38BfVyg Dainik Bhaskar पांच साल पहले ऑनलाइन कोचिंग शुरू की, अब 2.5 लाख सब्सक्राइबर्स; सालाना एक करोड़ का टर्नओवर

आज की पॉजिटिव खबर में मिलिए केरल की रहने वाली आशा बिनीश से। आशा ऑनलाइन कॉम्पटीशन एग्जाम की कोचिंग चलाती हैं। पांच साल पहले एक-दो छात्रों से शुरू हुआ उनका सफर आज 5 हजार छात्रों तक पहुंच चुका है। उनके चैनल के अब 2.5 लाख से ज्यादा सब्सक्राइबर हैं। वहीं, सालाना टर्नओवर एक करोड़ रुपए तक पहुंच गया है।
34 साल की आशा सॉफ्टवेयर इंजीनियर हैं। 2006 में इंजीनियरिंग के बाद उन्होंने एक कंपनी में कुछ साल काम किया। बच्चे जन्म के बाद जॉब छोड़कर उसके साथ समय बिताने का फैसला लिया। वे कहती हैं- घर पर रहने के दौरान मैं कुछ न कुछ क्रिएटिव करने की कोशिश करती रहती थी। इसी दौरान मैंने कुछ वीडियो लेक्चर रिकॉर्ड करके यूट्यूब पर अपलोड किए।
आशा के शुरुआती दो वीडियो को बहुत अच्छा रिस्पॉन्स नहीं मिला। लेकिन, तीसरे वीडियो को काफी लोगों ने देखा और तारीफ भी की। इसके बाद उन्होंने कुछ और वीडियो अपलोड किए। लोगों ने उन्हें मैसेज और फोन कर कोचिंग शुरू करने की सलाह दी। इसके बाद उनका सफर शुरू हुआ। वे इनोवेटिव तरीके से पढ़ाती हैं। उनके पढ़ाए सैकड़ों छात्र अलग-अलग एग्जाम्स में कामयाबी हासिल कर चुके हैं।
आशा खुद बैंकिंग की तैयारी कर चुकी हैं और सफल भी हो चुकी हैं। हालांकि, उन्होंने केरल से बाहर सर्विस लोकेशन्स होने के चलते बैंक ज्वाइन नहीं किया। वे कहती हैं कि कॉम्पीटिटिव एग्जाम के लिए बहुत कम ऑनलाइन प्लेटफॉर्म हैं, जहां बेहतर तरीके और कम खर्च में तैयारी कराई जाती है। इसलिए मैंने तय किया कि अब मैं ऑनलाइन बच्चों को गाइड करूंगी।

आशा ने 2016 में कॉम्पीटिटिव क्रैकर नाम से ऑनलाइन क्लास शुरू की। उन्होंने लैपटॉप और इंटरनेट कनेक्शन के लिए करीब 35 हजार रुपए खर्च किए। ऑनलाइन प्लेटफॉर्म पर पॉपुलर होने के बाद उन्होंने एर्नाकुलम में किराये की जगह में कोचिंग क्लास शुरू की। जिन बच्चों ने यूट्यूब पर उनका लेक्चर देखा था, वे अब यहां एनरोल हो गए। इस साल कोरोना के चलते जब सभी जगह ऑनलाइन क्लासेज शुरू हुईं, तो उनके चैनल के सब्स्क्राइबर भी बढ़ गए।
शुरुआती एक साल तक उन्होंने अकेले ही पूरा काम संभाला। पढ़ाने से लेकर यूट्यूब वीडियो बनाना, अपलोड करना, मार्केटिंग देखने जैसे सभी काम वह खुद करतीं थीं। इसके बाद उनके पति ने अपनी नौकरी छोड़ दी और आशा के स्टार्टअप के साथ जुड़ गए। अभी आशा के साथ 25 लोगों की टीम काम कर रही है। इसमें टीचर्स से लेकर मार्केटिंग और अकाउंटेंट का काम संभालने वाले लोग शामिल हैं।
लॉकडाउन के दौरान आशा ने कई नए और इनोवेटिव क्लास लॉन्च किए। अब उनके रेवेन्यू का 70% हिस्सा ऑनलाइन प्लेटफॉर्म से ही मिलता है। वे वीडियो लेक्चर, ऑनलाइन कंटेंट, टेस्ट सीरीज जैसी फैसिलिटी मुहैया कराती हैं। उन्होंने एक मोबाइल ऐप भी लॉन्च किया है। सबको मिलाकर उनका बिजनेस टर्नओवर सालाना एक करोड़ रुपए तक पहुंच गया है।
आशा UPSC, KPSC, SSC और बैंक जॉब्स की तैयारी करवाती हैं। उनके पैकेज और मॉड्यूल की प्राइस लेक्चर्स की संख्या के आधार पर अलग-अलग होती है। उनके कोर्स एक हजार रुपए से शुरू होते हैं। साथ ही कुछ नोट्स और लेक्चर्स मुफ्त में भी उपलब्ध हैं। आशा और उनकी टीम का एक ब्लॉग भी है, जिस पर कॉम्पीटिटिव एग्जाम की डेट, सिलेबस और सेलेक्शन प्रोसेस के बारे में जानकारी होती है।

आशा घर का काम संभालते हुए भी क्लास लेती हैं। कई बार वे खाना पकाते हुए भी लेक्चर लेती हैं। वो बताती हैं कि बच्चों को प्रैक्टिकली चीजें ज्यादा बेहतर तरीके से समझ में आती है और वो उसे लंबे समय तक याद भी रखते हैं। इसलिए उनकी कोशिश होती हैं कि खाना पकाने के दौरान ही वो कुछ ऐसे उदाहरण बच्चों के सामने रखें, जिससे उन्हें चीजें से समझ में आए।
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December 28, 2020 at 06:13AM